खाटू श्याम जी जन्मोत्सव 2025: हारे के सहारे का बर्थडे, जानें देवउठनी एकादशी की सही तारीख और महत्व

जानें खाटू श्याम जी का जन्मोत्सव 2025 कब है। कार्तिक शुक्ल एकादशी (1 नवंबर) को देवउठनी एकादशी के दिन क्यों मनाते हैं बाबा श्याम का बर्थडे। पूजा विधि, भोग और खाटूधाम में होने वाले भव्य आयोजन की पूरी जानकारी।

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Khatu Shyamji Birthday Date 2025: राजस्थान के सीकर जिले में स्थित विश्व प्रसिद्ध खाटू श्याम मंदिर में हर साल की तरह इस वर्ष भी बाबा श्याम का जन्मोत्सव बड़े ही धूमधाम, श्रद्धा और भक्ति के साथ मनाया जाएगा। भक्तों के बीच ‘हारे का सहारा’ और ‘लखदातार’ के नाम से विख्यात बाबा खाटू श्याम का जन्मदिन कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को पड़ता है, जिसे देवउठनी एकादशी (Devuthani Ekadashi) या देवोत्थान एकादशी भी कहा जाता है।

इस पावन तिथि को लेकर भक्तों में भारी उत्साह है, और दूर-दराज के राज्यों से लाखों श्रद्धालु खाटूधाम पहुँचने की तैयारी में जुट गए हैं।


खाटू श्याम जी जन्मोत्सव 2025 की सही तारीख

  • तिथि: खाटू श्याम बाबा का जन्मोत्सव इस वर्ष 1 नवंबर 2025, शनिवार को मनाया जाएगा।
  • पंचांग के अनुसार: हिंदू पंचांग के अनुसार, एकादशी तिथि 1 नवंबर 2025 को सुबह 09:11 बजे से शुरू होगी और 2 नवंबर 2025 को सुबह 07:31 बजे समाप्त होगी। उदया तिथि के अनुसार, जन्मोत्सव और व्रत 1 नवंबर 2025 को ही मान्य होगा।

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इसी शुभ दिन पर भगवान विष्णु अपनी चार माह की योग निद्रा से जागते हैं, और मांगलिक कार्यों की शुरुआत होती है। इसी वजह से यह दिन अत्यंत पवित्र माना जाता है।

जन्मोत्सव का महत्व और भव्य आयोजन

खाटू श्याम जी का जन्मोत्सव पूरे देश में, विशेषकर राजस्थान के सीकर स्थित खाटूधाम में, एक बड़े उत्सव का रूप लेता है:

  • भव्य श्रृंगार और भोग: इस दिन मंदिर को आकर्षक रूप से सजाया जाता है। बाबा श्याम को इत्र से पवित्र स्नान करवाकर गुलाब, चंपा और चमेली समेत तरह-तरह के फूलों से भव्य श्रृंगार किया जाता है। भक्तों द्वारा मावे का केक, चूरमा और पेड़े का प्रिय भोग अर्पित किया जाता है।
  • 20 लाख से अधिक भक्तों की उम्मीद: बाबा श्याम के प्रति बढ़ती आस्था के चलते, इस जन्मोत्सव में 20 लाख से अधिक श्रद्धालुओं के पहुंचने की उम्मीद है। मंदिर कमेटी, पुलिस और प्रशासन ने भक्तों की सुरक्षा और सुविधा के लिए व्यापक इंतजाम किए हैं।
  • विशेष ट्रेनें और यातायात व्यवस्था: भक्तों की सुविधा के लिए रेलवे ने विशेष ट्रेनें (जैसे कुरुक्षेत्र-फुलेरा स्पेशल ट्रेन) चलाने की घोषणा की है, जिनका ठहराव खाटू श्यामजी मंदिर से करीब 18 किलोमीटर दूर रींगस रेलवे स्टेशन पर होगा।
  • भक्ति का माहौल: खाटू नगरी में जगह-जगह भजन संध्याएं, महाप्रसादी और रात्रि जागरण के कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।

मान्यता है कि इस दिन जो भक्त सच्चे मन से बाबा श्याम के दर्शन करते हैं, उनकी हर मनोकामना पूरी होती है और जीवन के दुख-परेशानियाँ दूर हो जाती हैं।

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